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लाखों के घोटाले में घिरे राजस्वकर्मी, CMO खेल कुमार बना ‘रक्षा कवच’, कार्रवाई के नाम पर सिर्फ ‘नोटिस गेम’

लंबे समय से हो रहा गबन, लेकिन अधिकारी खामोश; शिकायत के बाद भी दोषियों को नहीं हटाया गया
रतनपुर। नगर पालिका रतनपुर में राजस्व विभाग से जुड़े कर्मचारियों द्वारा लगातार वर्षों से किए जा रहे आर्थिक गबन पर अब सवाल उठने लगे हैं। जांच में लाखों रुपये की गड़बड़ी उजागर होने के बावजूद CMO खेल कुमार ने दोषी कर्मचारियों पर ठोस कार्रवाई करने के बजाय केवल नोटिस जारी कर मामले को रफा-दफा करने की कोशिश की है। इससे स्पष्ट संकेत मिलता है कि घोटालेबाजों को अंदरखाने संरक्षण मिल रहा है।

लाखों का गबन उजागर, फिर भी प्लेसमेंट कर्मी अब भी पदस्थ
निकाय सूत्रों के अनुसार, दो राजस्वकर्मी और एक प्लेसमेंट कर्मी के खिलाफ जांच में स्पष्ट रूप से खुलासा हुआ कि उन्होंने राजस्व वसूली की रसीदें काटकर राशि को कोष में जमा करने के बजाय निजी उपयोग में लाया। इस गंभीर आर्थिक अपराध के बावजूद ये कर्मचारी अभी भी नगर पालिका कार्यालय में कार्यरत हैं।

CMO ने पत्रकारों से कहा— ‘पैसे जमा करने समय दिया है, फिर नोटिस देंगे’
पत्रकारों द्वारा पूछे जाने पर CMO खेल कुमार ने बताया कि संबंधित कर्मियों को राशि जमा करने का समय दिया गया है। यदि वे ऐसा नहीं करते तो अगला नोटिस जारी किया जाएगा। यह रवैया बताता है कि गंभीर वित्तीय घोटाले को वे एक साधारण चूक मानकर आगे बढ़ रहे हैं।

2016 से हो रहा है निकाय का आर्थिक शोषण, अधिकारी रहे मौनदर्शक
सूचना के अधिकार (RTI) के तहत प्राप्त दस्तावेजों और घोटालों की श्रृंखलाबद्ध रिपोर्टों से स्पष्ट है कि 2016 से अब तक लाखों रुपये की राजस्व राशि गबन की गई। तत्कालीन और वर्तमान CMO दोनों की भूमिका संदिग्ध रही है। इस बीच, निकाय का कोष लगभग खाली हो चुका है जबकि कुछ कर्मचारी चुपचाप संपत्ति जुटा रहे हैं।

सूत्रों का दावा— जांच रिपोर्ट विभाग को नहीं भेजी गई, CMO ने दिया मौन समर्थन
विश्वसनीय सूत्रों की मानें तो इस पूरे मामले में जांच रिपोर्ट आने के बावजूद न तो किसी पर कड़ी कार्रवाई की गई, न ही इसकी जानकारी जिला प्रशासन या नगरीय प्रशासन विभाग को भेजी गई। इससे प्रतीत होता है कि CMO खुद इस घोटाले को दबाने में रुचि रखते हैं और दोषियों को अभयदान दे रहे हैं।

अब होगा बड़ा खुलासा: मंत्री व कलेक्टर से होगी शिकायत

इस मामले को लेकर नगरपालिका अध्यक्ष लवकुश कश्यप ने कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कहा—
“दोषी चाहे अधिकारी हो या कर्मचारी, किसी को बख्शा नहीं जाएगा। यदि निर्धारित समय में गबन की राशि जमा नहीं की गई, तो थाने में एफआईआर दर्ज करवाई जाएगी और विभागीय कार्रवाई हेतु पत्र भेजा जाएगा।”

नगरपालिका अध्यक्ष ने यह भी कहा कि वे शीघ्र ही संबंधित विभागीय मंत्री और जिला कलेक्टर से मिलकर सीएमओ और दोषी कर्मचारियों के खिलाफ विधिवत शिकायत दर्ज कराएंगे।

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