कोरबा। प्रदेश सरकार द्वारा संचालित कल्याणकारी गोधन न्याय योजना राज्य के पशुपालकों एवं किसानों सहित समाज के सभी वर्गों के लिए अत्यंत उपयोगी एवं लाभदायक साबित हो रही है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल द्वारा हमारी गौरवशाली प्राचीन भारतीय संस्कृति की गोधन के महत्व एवं उपयोगिता को पुन: स्थापित कर पशुपालकों को आमदनी का साधन उपलब्ध कराया है। गोधन योजना का लाभ लेकर लोग दूध के साथ ही गोबर एवं गौमूत्र का विक्रय कर अच्छी आय प्राप्त कर रहे हैं जिससे यह योजना उनके के लिए वरदान साबित हो रही है। छत्तीसगढ़ शासन की इस महत्वकांक्षी योजना के सफल क्रियान्वयन फलस्वरूप जिले के कृषकों एवं पशुपालकों के आर्थिक स्थिति को मजबूती मिली है।
गोधन न्याय योजना जिले के कटघोरा विकासखंड के ग्राम बुंदेली की रहने वाली श्रीमती सुनीता यादव, पति मनोज यादव के पारिवारिक स्थिति की आर्थिक समृद्धि का आधार बन गया है। इस योजना के फलस्वरूप उन्हें मिल रहें लाभ तथा अपने पारिवारिक स्थिति में हो रहें सुधार के संबंध जानकारी देते हुए हितग्राही सुनीता ने बताया कि उनका परिवार के जीवन निर्वाह का मुख्य जरिया मेहनत-मजदूरी कार्य रहा है। उन्होंने बताया कि उनके पास अपनी कुछ पैतृक जमीन है। जहां वे खेती-बाड़ी के साथ ही पशुपालन कर अपना जीवन-यापन करते हैं। उनके पास 2 गाय, 3 भैंस, 2 बैल एवं 2 बछड़ा सहित कुल 9 मवेशी हैं। जिनसे मिलने वाले दुध से उन्हें थोड़ी-बहुत आमदानी प्राप्त होती थी। इसका उपयोग वे मवेशियों के चारा-पानी एवं रखरखाव में उपयोग करते थे। परंतु गोबर से किसी प्रकार का लाभ उन्हें नहीं होता था। राज्य सरकार द्वारा गोधन न्याय योजना संचालित कर गौठानों में गोबर खरीदी करने से सुनिता को अतिरिक्त आमदनी का एक बड़ा जरिया मिला। वह अब मवेशियों के गोबर को एकत्र कर अपने घर के निकट स्थित गौठान में विक्रय करने लगी। उन्होंने बताया कि अब तक वह लगभग 225 क्विंटल गोबर विक्रय कर 45 हजार से अधिक की आमदनी प्राप्त की है।