टेंट हाऊस का काम शुरू करने पिता नहीं दे रहा था रुपए, पुत्र ने मार डाला
कोरबा। खुद का टेंट हाऊस का काम शुरू करने के लिए बेटे ने पिता से रुपए मांगा लेकिन जब देने से मना कर दिया तो विवाद करते हुए तैश में आकर पिता को मार डाला। पुलिस ने 18 दिन पहले हुए हत्या की गुत्थी को सुलझाते हुए आरोपी पुत्र को सलाखों के पीछे भेज दिया हैै।
गौरतलब है कि रजगामार पुलिस चौकी अंतर्गत ग्राम भुलसीडीह में 16 दिसंबर को 73 वर्षीय बालेश्वर चौबे की रक्तरंजित लाश उसके फार्महाउस में मिली थी। पुत्र राजेश चौबे की सूचना पर पुलिस ने मौका मुआयना करने के साथ ही जांच-पड़ताल शुरू की। पुलिस अधीक्षक संतोष सिंह के निर्देशन में थाना बालको व सायबर सेल प्रभारी निरीक्षक मनीष नगर तथा चौकी प्रभारी रजगामार निरीक्षक राजेश चंद्रवंशी के द्वारा हर पहलुओं पर विवेचना की जा रही थी। स्थानीय ग्रामीणों के द्वारा और मुखबिरों के माध्यम से पुष्टि हुई कि मृतक बालेश्वर चौबे का अपने पुत्रों के साथ में नहीं बनता था। उनके साथ संपत्ति को लेकर वाद-विवाद होते रहता था, इसलिए बालेश्वर ने अपने दोनों बेटों को अपने साथ नहीं रखा था। बालेश्वर चौबे की भुलसीडीह में करीब 13-14 एकड़ कृषि जमीन है, इसके बावजूद बड़ा पुत्र केदारनाथ चौबे चौकीदारी का काम करता था तथा मंझला लड़का राजेश चौबे टेंट वालों के साथ मजदूरी करता था। फार्म हाउस में मृतक का 3-4 बस कबाड़ हालत में खड़ा हुआ है, जिसे बेटों के द्वारा बेचने के लिए बोलने पर भी नहीं बेच रहा था। संदेही पुत्र राजेश चौबे ने सख्त पूछताछ में बताया कि वह स्वयं का टेंट हाउस का सामान लेकर काम करना चाहता था परंतु पिता उसको रुपए नहीं दे रहा था और ना ही कबाड़ बस को बेचने के लिए राजी था। घटना दिनांक 16 दिसंबर को भी राजेश ने पिता से टेंट हाउस का सामान खरीदने के लिए रुपए मांगा और जब रुपए देने से मना कर दिया व भला-बुरा कहने लगा तो राजेश ने घर में रखे टंगिया के पासा से सिर पर वार कर हत्या कर दिया। चौकी प्रभारी राजेश चंद्रवंशी ने बताया कि राजेश चौबे का पुराना अपराधिक रिकॉर्ड भी है। उसने सीएसईबी पुलिस सहायता केंद्र अंतर्गत एक मजिस्ट्रेट के घर में अपने साथियों के साथ मिलकर चोरी किया था
0 बाघा ने शुरू दिन ही बता दिया था संदेही
हत्या की सूचना उपरांत पुलिस के खोजी डॉग बाघा की भी मदद ली गई। मौके पर बाघा को तलब किया गया। बाघा ने घटनास्थल से आरोपी का सुराग तलाशा और सीधे फार्म हाऊस परिसर में ही मौजूद हैण्डपंप पर जा पहुंचा। वह यहां चारों तरफ घूमने के बाद पुलिस की प्रारंभिक पूछताछ में जवाब दे रहे राजेश चौबे के पास जाकर झपट पड़ा। मामला उसी दिन सुलझ चुका था लेकिन जिस तरह की जानकारी राजेश ने पुलिस को दी थी, उससे काफी कुछ स्पष्ट करना शेष रह गया था। पूरी पुष्टि के बाद आरोपी को गिरफ्तार कर जेल दाखिल करा दिया गया।