कोरबा। जिले में राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन (बिहान) अंतर्गत कोरबा, पाली व पोडीउपरोडा में कार्यरत कृषि सखियों का 5 दिवसीय प्राकृतिक कृषि विषय पर सघन प्रशिक्षण दिया गया। इस प्रशिक्षण में तीनों विकासखण्ड के कुल 180 कृषि सखी को 6 बैच में प्रशिक्षण प्रदाय किया गया। प्रशिक्षण का मुख्य उद्देश्य समूह में जुडे़ महिला किसानों तक प्राकृतिक कृषि (खेती) गतिविधि को विस्तारित किया जाना है। उक्त प्रशिक्षण मैनेज (हैदराबाद) व छत्तीसगढ़ राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन द्वारा मास्टर ट्रेनर द्वारा दियेे गये। उक्त ट्रेनरों के माध्यम से प्रशिक्षण को संपन्न कराया गया है जिसमें वरिष्ठ कृषि सीआरपी का भी सहयोग लिया गया।
प्रशिक्षण में जैविक दवा, खाद, मृदा के प्रकार, जल प्रबंधन, कीट प्रबंधन का तकनीक के साथ क्षेत्र भ्रमण भी कराया गया जहां व्यावहारिक जानकारी प्रदाय की गयी। साथ ही वातावरण व स्वास्थ्य में रासायनिक खेती के दुष्प्रभाव को भी विशेष रूप से फोकस किया गया। खेती को बेहतर करने में मृदा की गुणवत्ता को सुधार व पर्यावरण को सतत् अच्छा बनाये रखने हेतु प्राकृतिक खेती एक उपयोगी कारगर खेती पद्यति है। स्थानीय क्षेत्र में संसाधन के उपयोग से व उपयुक्त कृषि प्रबंधन के द्वारा उत्पादन में वृध्दि व लागत में कमी लाकर ग्रामीणों को कृषि से अच्छी आय प्राप्त हो सकती है। कृषि सखी प्रतिभागियों के द्वारा उत्साह पूर्वक कार्यक्रम में भाग लिया गया। इस प्रशिक्षण कार्यक्रम का संचालन एनआरएलएम जिला इकाई व विकासखण्ड इकाई द्वारा संपादित किया गया। प्रशिक्षण का सुचारू रूप से संचालन हेतु कर्मदक्ष संस्था के मास्टर टेªनर श्री कमल भारद्वाज एवं अविनाश सिंह, शांतनु तिवारी, अल्का आदिले का विशेष योगदान रहा।